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नागपुर में महसूस किए गए भूकंप के झटके, रिक्टर स्केल पर 3.3 रही तीव्रता

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नागपुर ब्यूरो : महाराष्ट्र में नागपुर के उत्तर पूर्व में आज सुबह भूकंप (earthquake) के झटके महसूस किए गए. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी ने बताया कि रिक्टर स्केल (Richter Scale) पर भूकंप की तीव्रता 3.3 रही. यह भूकंप सुबह 4:10 बजे नागपुर के उत्तर-उत्तरपूर्व में 96 किमी दूर दर्ज किया गया. फिलहाल इस भूकंप से किसी तरह के जान-माल के नुकसान की खबर नहीं है.

बता दें,  इससे पहले सिक्किम में गंगटोक के नजदीक रविवार के दिन भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी के अनुसार, रिक्टर स्केल पर उसकी तीव्रता 3.6 रही थी. सिक्किम में गंगटोक भूकंप के झटके दोपहर 12 बजकर छह मिनट पर महसूस किए गए थे.

गौरतलब है कि कुछ दिन पहले ही हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में भूकंप का झटका महूसस किया गया था. इस दौरान भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 2.7 मापी गई थी.

शिमला में 3.6 तीव्रता का भूकंप
बता दें कि सोमवार को यानी बीते दिन हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला में झटके से लोग सहम गए. यहां दोपहर करीब एक बजकर बीस मिनट पर भूंकप का झटका महसूस किया गया है. इस दौरान भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल (Richter Scale) पर 3.6 मापी गई. ऐसे में लोग डर कर अपने-अपने घरों से बाहर निकल गए.

रिक्टर स्केल और भूकंप की तीव्रता का संबंध?
  1. 0 से 1.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर सिर्फ सीज्मोग्राफ से ही पता चलता है.
  2. 2 से 2.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर हल्का कंपन होता है.
  3. 3 से 3.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर कोई ट्रक आपके नजदीक से गुजर जाए, ऐसा असर होता है.
  4. 4 से 4.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर खिड़कियां टूट सकती हैं. दीवारों पर टंगी फ्रेम गिर सकती हैं.
  5. 5 से 5.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर फर्नीचर हिल सकता है.
  6. 6 से 6.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर इमारतों की नींव दरक सकती है. ऊपरी मंजिलों को नुकसान हो सकता है.
  7. 7 से 7.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर इमारतें गिर जाती हैं. जमीन के अंदर पाइप फट जाते हैं.
  8. 8 से 8.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर इमारतों सहित बड़े पुल भी गिर जाते हैं.
  9. 9 और उससे ज्यादा रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर पूरी तबाही. कोई मैदान में खड़ा हो तो उसे धरती लहराते हुए दिखेगी.
  10. भूकंप में रिक्टर पैमाने का हर स्केल पिछले स्केल के मुकाबले 10 गुना ज्यादा ताकतवर होता है.
भूकंप आने पर क्‍या करें, क्या न करें
  1. भूकंप आने पर फौरन घर, स्कूल या दफ़्तर से निकलकर खुले मैदान में जाएं. बड़ी बिल्डिंग्स, पेड़ों, बिजली के खंबों आदि से दूर रहें.
  2. बाहर जाने के लिए लिफ्ट की बजाय सीढ़ियों का इस्तेमाल करें.
  3. कहीं फंस गए हों तो दौड़ें नहीं। इससे भूकंप का ज्यादा असर होगा.
  4. भूकंप आने पर खिड़की, अलमारी, पंखे, ऊपर रखे भारी सामान से दूर हट जाएं ताकि इनके गिरने और शीशे टूटने से चोट न लगे.
  5. अगर आप बाहर नहीं निकल पाते तो टेबल, बेड, डेस्क जैसे मजबूत फर्नीचर के नीचे घुस जाएं और उसके लेग्स कसकर पकड़ लें ताकि झटकों से वह खिसके नहीं.
  6. कोई मजबूत चीज न हो, तो किसी मजबूत दीवार से सटकर शरीर के नाजुक हिस्से जैसे सिर, हाथ आदि को मोटी किताब या किसी मजबूत चीज़ से ढककर घुटने के बल टेक लगाकर बैठ जाएं.
  7. खुलते-बंद होते दरवाजे के पास खड़े न हों, वरना चेाट लग सकती है.
  8. गाड़ी में हैं तो बिल्डिंग, होर्डिंग्स, खंबों, फ्लाईओवर, पुल आदि से दूर सड़क के किनारे या खुले में गाड़ी रोक लें और भूकंप रुकने तक इंतजार करें.

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